TOP GUIDELINES OF CHALAWA KI DAHSHAT EK SUCCHI KAHANI

Top Guidelines Of Chalawa ki dahshat ek succhi kahani

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एकांत पाते ही विभारानी जयति से मुखातिब हुई- “जयति, तुम अकेली क्यों और घर के नाम-पट पर –“यह घर मेरा .

गांव के मर्द खेतों से खरपतवार को हटा रहे हैं और खेतों में आग लगा कर झाड़- झंकड़ को साफ करने में लगे हैं।

तभी हवा में, अचानक से ठंड पहले से और ज्यादा बढ़ गयी थी। मैंने सोचा नीचे घर में जाया जाये तो जैसे ही मैं अपने घर में जाने लगा। मैंने देखा कि उस आदमी का कद अचानक से बढ़ने लगा है।

कुछ गांव के लोग अपने खेतों में गोट( खेतों में किसी कोने में दोनों तरफ छप्पर लगा कर उसमे अपने जानवरों को बांध कर कुछ समय वहीं उसी छप्पर में रहते हैं ताकि खेतों में ज्यादा से ज्यादा गोबर इकट्ठा हो सके) लगा रहे हैं। गेंहू की बुवाई का समय नजदीक आ गया है, इसलिए काम जल्दी जल्दी हो रहा है।

लेकिन क्यों है ऐसा नाम और क्या है उसकी कहानी ?

ये घटना जब भी मेरे जहन में आती है तो मेरे आंखों के सामने फिर से वही परिदृश्य घूमने लगता है कि क्या वास्तव में ऐसा कुछ आज के जमाने में भी संभव click here है, आज इस घटना को ३० साल से ज्यादा का समय हो गया है पर लगता है कल की ही बात हो।

ये एक सच्ची घटना पर आधारित कहानी है, पहाड़ों में आज भी भूनी हुई किसी भी चीज को खुले में, अनजानी जगहों पर, रात में या कहीं जंगलों में खाने के लिए मना किया जाता है, ऐसा कहा जाता है कि ऐसा करने पर छलावा (भूत) उसे छल लेता है।

एक साथ कई तरह के भाव अलका के चेहरे पर आकर धमाचौकड़ी करने लगे। चिट्ठी हाथ में दबाए वह बहुत तेज़ी से द.

हतप्रद थे कि कौन गिरीश भाई ले जाएगा और क्यूं ? आखिर माजरा क्या है ? सभी गफलत में थे, उधर बुजुर्ग, लड़कों के साथ मिल कर मशाल बना रहे थे, और जल्दी जल्दी उसे रोकने के लिए कह रहे थे। मशाल बनने के बाद सभी बड़े लड़के मशाल जला कर उस दिशा की ओर भागे जहां से आवाज आ रही थी।

मैं तेजी से नीचे आया और कंबल ओढ़ कर सो गया। सुबह मैंने ये बात अपने घर वालों को बताई तो किसी ने भी मेरा विश्वास नहीं किया, सिवाय मेरी दादी के।

उन्होने कहा कि वो एक छलावा था और छलावा बहुत ही ख़तरनाक होते हैं। तेरी जान इसलिए बच गयी क्यूंकि तेरे गले में यह माता रानी का रक्षा कवच था। तब मुझे याद आया कि यह तो मैंने थोड़े दिन पहले ही अपने गले में बांधा था।

गांव के बुजुर्गो ने सभी बड़े लड़कों से मशाल बनाने और उस ओर जाने के लिए कहा जिधर से शोर आ रहा था। किसी ने बताया कि शोर उस ऊपर वाले खेत में जो गोट लगी है वहीं से हुत हूत की आवाज आ रही है। किसी ने बताया कि वो गोट तो गिरीश की है,और शायद वो मुसीबत में है।

Chalawa is supernatural Tale of a youthful Female named Sawera who's possessed by delivery by a Chalawa (a kind of supernatural demon) owning the ability of betrayal and illusion. Her father Aamir had died just before her delivery but very little did she understand that Professor Hamdani was driving the betrayal who Alternatively seemed to be a savior to her mother Mahnoor previously in her childhood following he "helped" do away with the Chalawa named Sarnash from Sawera.[3]

सभी बुजुर्ग आपस में मंत्रना कर रहे थे कि कैसे गिरीश को बचाया जाए, और हम सब सुन रहे थे कि कोई गांव का गिरीश भाई संकट में है, पर समझ नहीं आ रहा था कि उन्हें आखिर हुआ क्या है ? और किस तरह से वो संकट में हैं ? अभी हम बुजुर्गो की बात सुन ही रहे थे कि एक जोर की आवाज गूंजने लगी कि उसे "केरी" (गांव की लक्ष्मण रेखा, जो गांव को बुरी बला से बचाती है) की तरफ ले जाने का प्रयास हो रहा है, और अगर उसने उसे "केरी" के बाहर ले गया तो फिर उसे कोई नहीं बचा सकता, हम सभी बच्चे, दादी, चाचियां सब परेशान,

इस आस के संग उसने अपने घायल तन-मन को समझाने के साथ अपने अनियंत्रित विचारों को झटकने का प्रयत्न किया .

उधर दूसरी ओर वो, गिरीश भाई को एक खेत से दूसरे खेत की ओर ले जा रहा था, और गिरीश भाई की जान संकट में थी, अगर शीघ्र उसे ना रोका गया तो वो, गिरीश भाई को मार देगा। सभी लड़के तेजी से भाग रहे थे, परन्तु पहाड़ में उकाल (चढ़ाई) में चढ़ना आसान नहीं होता, खेती सीढ़ी नुमा होती है जिससे एक खेत से दूसरे खेत में जाने में समय अधिक लगता है, फिर भी लड़के ऊपर खेत की ओर भागे जा रहे थे कि किस तरह से गिरीश को "केरी" पार करने से रोका जाए।

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